अहमदाबाद: आज के दौर में गौरक्षक एक ऐसा नाम है जिसे सुनते ही इंसान के जेहन में जो सबसे पहली बात आती है वो है हिंसा। गौरक्षकों ने पिछले कुछ वक़्त में गाय को मुद्दा बनाकर ऐसे-ऐसे घिनोने कामों को अंजाम दिया है जिनके बारे में सुनकर उनकी छवि रक्षक की बजाय एक कातिल की ज्यादा लगने लगी है। कुछ ऐसा ही वाक्या हुआ था 13 सितम्बर के दिन। बकरीद का मौक़ा था और रोजाना की तरह अपनी गाड़ी से माल ढोने का काम करने वाला अयूब आज बैलों और बछड़ों को लेकर एक जगह छोड़ने जा रहा था कि उसकी गाड़ी का एक्सीडेंट हो गया।
हादसे में जहाँ अयूब को कुछ चोटें ही आईं वहीँ गाड़ी में लदे जानवरों में से कुछ मारे गए। हादसे की जगह पर इकठ्ठा हुए लोगों में से कुछ ने अयूब को यह बोलकर घेरना शुरू कर दिया कि वो इन जानवरों को बलि देने के लिए ले जा रहा है। मामले को बिगड़ता देख अयूब ने भागने की कोशिश की लेकिन देखते ही देखते आक्रामक हुई भीड़ ने अयूब को पकड़ कर लोहे की रॉडों और डंडों से पिटाई करनी शुरू कर दी जिसकी वजह से अयूब बुरी तरह से घायल हो गया।
जैसे तैसे कुछ लोगों की मदद से हस्पताल पहुंचे अयूब ने 16 सितम्बर पीएम मोदी के जन्मदिवस के दिन दम तोड़ दिया। एक तरफ जहाँ पीएम मोदी के जन्मदिन की खुशियां मनाई जा रही थीं वहीँ अयूब के घर मातम का माहौल बना हुआ था। बीवी, दो बच्चे, माँ-बाप, एक भाई और एक बहन इन सब का खर्च अयूब के कमाए हुए पैसों से ही चलता था। अयूब के जाने से जहाँ एक तरह इतने मुँहों का निवाला छिन गया वहीँ अयूब के रूप में किसी ने अपने बेटे को खोया, किसी ने एक भाई, किसी ने शौहर को खोया तो किसी ने अपना पिता।
एक निहत्थे और दिहाड़ीदार आदमी को मार शायद कथित गौरक्षक अपना कद बढ़ा हुआ महसूस कर रहे हों लेकिन अयूब के परिवार के लिए रोटी का सवाल जरूर खड़ा हो गया है। ऐसे में इस परिवार को मदद की जरुरत है ताकि एक बार फिर बेसहारा दो वक़्त की रोटी खा सकें, उसकी बहन और भाई स्कूल या कॉलेज जा सकें और माँ-बाप की बूढी आंखों से बह रहे आंसू कुछ थम जाएँ। द सियासत डेली अपने पाठकों से इस दुखी और जरूरतमंद परिवार की मदद करने की गुज़ारिश करता है। गौरक्षकों द्वारा मारे गए अयूब के परिवार को है मदद की दरकार. ये पोस्ट हिंदी सियासत से ली गयी है
मदद के लिए पैसे आप इस खाते में जमा करवा सकते हैं:
खाताधारक: मेराज बानू और सरीना बानू
अकाउंट नंबर: 210310510016513
बैंक: बैंक ऑफ़ इंडिया (वत्व ब्रांच)
आईएसएफ कोड: BKID0002103